बांगरमऊ उन्नाव 12 दिसंबर । तहसील क्षेत्र के ग्राम महोलिया, हरईपुर, ब्योली इस्लामाबाद, रोशनाबाद, भिक्खनपुर गोपालपुर आदि गांव में फ्लोराइड रहित शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराए जाने के लिए फारूक अहमद एडवोकेट ने उच्च न्यायालय खंडपीठ लखनऊ में एक जनहित याचिका दायर की है।
मालूम हो कि सरकार द्वारा वर्ष 1985 में पानी के कराए गए परीक्षण में ग्राम महोलिया, हरईपुर, ब्योली इस्लामाबाद, रोशनाबाद, भिक्खनपुर गोपालपुर आदि गांव के पानी में फ्लोराइड प्रचुर मात्रा में पाया गया था। फ्लोराइड रहित पानी उपलब्ध कराए जाने के उद्देश्य से वर्ष 1995 में ग्राम ब्योली इस्लामाबाद में एक पानी की टंकी की स्थापना की गई थी। और पाइप लाइन के माध्यम से उपरोक्त ग्रामों में जलआपूर्ति की गई थी। परंतु दुर्भाग्यवश पानी की टंकी एक वर्ष तक ही क्रियाशील रह पाई और उसके बाद निष्प्रभावी हो गई। इसलिए उपरोक्त गांव को फ्लोराइड रहित शुद्ध पेयजल उपलब्ध नहीं हो सका। पानी में फ्लोराइड की मात्रा अधिक होने के कारण उपरोक्त गांव में रहने वाले नागरिकों में तरह-तरह की गंभीर बीमारियां जैसे फाइलेरिया, हाथों व पैरों की विकलांगता, रीढ़ की हड्डियों का कमजोर होना, उम्र से पहले दांत पीले होकर नष्ट हो जाना जैसी गंभीर बीमारियां पनपती गईं। ग्राम महोलिया में ही लगभग 51 लोग फ्लोराइड युक्त पानी से ग्रसित होकर गंभीर रूप से बीमार हैं। इसके अलावा उपरोक्त अन्य गांव में भी काफी संख्या में लोग इससे प्रभावित हैं। स्थानीय जनता ने अनेकों बार जनप्रतिनिधियों से फ्लोराइड रहित पानी उपलब्ध कराए जाने की मांग की परंतु इस संबंध में कोई कार्यवाही नहीं हुई।
फ्लोराइड युक्त पेयजल की गंभीर समस्या को देखते हुए तथा स्थानीय जनता की मांग पर तहसील क्षेत्र के ग्राम इस्माइलपुर आंबापारा निवासी उच्च न्यायालय खंडपीठ लखनऊ के वरिष्ठ अधिवक्ता तथा यश भारती सम्मान से सम्मानित प्रमुख समाजसेवी फारूक अहमद एडवोकेट ने दिनांक 20 मई 22 को मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर उपरोक्त गांव के लोगों के लिए फ्लोराइड रहित जल उपलब्ध कराए जाने की मांग की थी। उसके बाद 28 मई 2022 को अपर मुख्य सचिव ग्राम विकास विभाग को भी पत्र लिखा था। उसके बाद जिलाधिकारी उन्नाव ने 22 जून 22 को सूचित किया कि उपरोक्त गांव का पानी फ्लोराइड से प्रभावित है, और जो पानी की टंकी ब्योली इस्लामाबाद में स्थापित की गई थी वह काफी समय पूर्व से निष्प्रभावी हो चुकी है। फंड के अभाव में कार्यवाही नहीं हो सकी है और फंड की मांग की गई है। ऐसी गंभीर और जानलेवा अति संवेदनशील समस्या के प्रति सरकार की लेटलतीफी व हीला हवाली को देखते हुए आज 12 दिसंबर 2022 को फारूक अहमद एडवोकेट ने एक जनहित याचिका उच्च न्यायालय खंडपीठ लखनऊ में दायर कर उपरोक्त गांव के नागरिकों को फ्लोराइड रहित शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराने के लिए प्रत्येक गांव में नई तकनीक की पानी की टंकी बनाने की मांग की है। जनहित याचिका की सुनवाई 15 दिसंबर 2022 को होगी।